ये सिंगल डोज वैक्सीन कोरोना के खिलाफ असरदार! भारत में भी होगा प्रोडक्शन

नई दिल्ली: कोरोना वैक्सीन (Corona Vaccine) की दोनों डोज लगवा चुके कई लोगों को अब कोरोना संक्रमण (Covid 19) फिर से होने लगा है. दिल्ली एनसीआर में ऐसे कुछ डॉक्टर और आम लोग जिन्हें दोनों डोज लगे काफी समय हो चुका है उन्हें फिर से कोरोना वायरस का संक्रमण हो रहा है. कई लोग अब बूस्टर डोज लगवाने के बारे में पूछने लगे हैं, हालांकि भारत में बूस्टर डोज लगाने पर अभी फैसला नहीं हुआ है. इस बीच स्पूतनिक लाइट वैक्सीन (Sputnik Light Vaccine) बनाने वाली कंपनी ने दावा किया है कि ये सिंगल डोज वैक्सीन सबसे अच्छी बूस्टर डोज साबित होगी.

70 प्रतिशत तक कारगर!

स्पूतनिक की सिंगल डोज वैक्सीन स्पूतनिक लाइट (Sputnik Light Vaccine) 70 प्रतिशत तक असरदार साबित हो रही है. वैक्सीन निर्माता कंपनी का दावा है कि ये टीका डेल्टा वेरिएंट पर भी कारगर है. स्पूतनिक वैक्सीन बनाने वाले रूस के गैमेलिया रिसर्च सेंटर ने दावा किया कि 60 वर्ष से कम उम्र के लोगों में ये 75 प्रतिशत से ज्यादा कारगर पाई गई है. साथ ही बेहद बीमार लोगों पर भी इस वैक्सीन का अच्छा असर देखा गया है.

इतने देशों में इस्तेमाल की मंजूरी

कंपनी का ये भी दावा है कि ये वैक्सीन स्पूतनिक की डबल डोज वैक्सीन के मुकाबले बेहतर काम करती है. डबल डोज वैक्सीन का असर डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ 5 महीने बाद 50 प्रतिशत से भी कम रह जाता है.

स्पूतनिक लाइट के असर का डाटा जर्नल medRxiv में जमा करवाया गया है. स्पूतनिक लाइट का परीक्षण 28 हजार लोगों पर किया गया. स्पूतनिक वैक्सीन को 70 देशों से मान्यता मिल चुकी है जबकि 15 देशों ने इस्तेमाल की मंजूरी भी दे दी है. कंपनी का कहना है कि 30 देशों से इस बारे में बातचीत चल रही है.

भारत में बनाएगा SII

कंपनी का ये भी दावा है कि अगर आपने दूसरी किसी कंपनी की वैक्सीन लगवाई है तो ये बेहद असरदार बूस्टर डोज साबित हो सकती है. अभी जो ट्रायल चल रहे हैं उसके शुरुआती परिणाम के हिसाब से अगर स्पूतनिक लाइट यानी सिंगल शॉट वैक्सीन को बूस्टर डोज के तौर पर लगाया जाए तो ये 94 प्रतिशत तक अस्पताल जाने से बचाती है और 84 प्रतिशत संभावना इस बात की है कि ये आपको कोरोना इंफेक्शन से बचा ले. स्पूतनिक लाइट वैक्सीन ह्यूमन एडिनोवायरस आधारित वैक्सीन है. 10 देश स्पूतनिक लाइट का उत्पादन करेंगे जिसमें भारत भी शामिल है. भारत में इस वैक्सीन को सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया बनाएगा.

दो डोज वाली वैक्सीन से ज्यादा असरदार’

अर्जेंनटीना में स्पूतनिक लाइट वैक्सीन लगाई जा रही है और वहां का डेटा बताता है कि वैक्सीन 78 से 84% तक असरदार रही है. स्पूतनिक लाइट को एस्ट्राजेनेका वैक्सीन (भारत में कोवीशील्ड) के साथ कॉम्बिनेशन के तौर पर इस्तेमाल करके भी देखा गया है. शुरुआती नतीजों के मुताबिक सभी वॉलंटियर में 100% एंटीबॉडीज बन गईं. कंपनी का दावा है कि एक डोज वाली स्पूतनिक लाइट दो डोज वाली स्पूतनिक के मुकाबले भी ज्यादा असरदार साबित हुई  है.

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